MCD : मेयर शैली ओबरॉय का बड़ा दावा कहा इस काम में एमसीडी का जवाब नहीं..

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*पूरा विश्व प्रदूषण और जलवायु परिवर्तन से जूझ रहा है, इसके लिए हम सब जिम्मेदार हैं- डॉ शैली ओबरॉय*

*- दिल्ली की मेयर डॉ. शैली ओबरॉय ने आज अर्बन-20 मेयर शिखर सम्मेलन में शिरकत की*

*- दिल्ली नगर निगम पर्यावरण को बेहतर बनाने की दिशा में विशेष कार्य कर रही है- डॉ शैली ओबरॉय*

*- वेस्ट मैनेजमेंट के लिए वेस्ट टू एनर्जी प्लांट बनाया गया है, सीएंडडी प्लांट के जरिए मलबे का निस्तारण किया जा रहा है- डॉ शैली ओबरॉय*
  
*- हम हरियाली को खत्म करके इमारते बना रहे हैं, लोगों की भागीदारी से ग्रीन क्षेत्र को बढ़ा सकते हैं- डॉ शैली ओबरॉय*     

  

                                                      
*नई दिल्ली, 07 जुलाई, 2023*

दिल्ली की मेयर डॉ. शैली ओबरॉय ने आज अहमदाबाद में अर्बन-20 मेयर शिखर सम्मेलन में शिरकत की। मेयर ने “पर्यावरण के अनुरूप जिम्मेदार व्यवहार” विषय पर चर्चा सत्र के दौरान अपने विचार व्यक्त किए। इस दौरान मेयर ने नागरिक मुद्दों और जलवायु परिवर्तन के समाधान के लिए सभी के बीच स्थायी व्यवहार विकसित करने की आवश्यकता पर जोर दिया।

मेयर डॉ. शैली ओबरॉय ने कहा कि पूरा विश्व कूड़ा निस्तारण, प्रदूषण, लैंडफिल साइट और जलवायु परिवर्तन से जूझ रहा है। इसके लिए हम सब जिम्मेदार हैं। क्योंकि हमारा व्यवहार पर्यावरण के अनुकूल नहीं है। दिल्ली नगर निगम पर्यावरण को बेहतर बनाने की दिशा में विशेष कार्य कर रही है। वेस्ट मैनेजमेंट के लिए वेस्ट टू एनर्जी प्लांट बनाया गया है। सीएंडडी प्लांट के जरिए मलबे का निस्तारण किया जा रहा है। वेस्ट रिसाइकलिंग और वेस्ट सेग्रिगेशन पर कार्य किया जा रहा है। इसके अलावा बड़े स्तर पर जागरुकता कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं।

उन्होंने कहा कि हमारी आने वाली पीढ़ियों के लिए धरती माता की रक्षा करने के लिए ‘एक सही आदत’ विकसित करनी चाहिए। हमें केवल निगमों, राज्य सरकारों और देशों के काम पर ही ध्यान केंद्रित नहीं करना चाहिए। हमें मानवीय को भी बदलना होगा और तभी हम धरती मां को बचा सकते हैं।

मेयर डॉ शैली ओबरॉय ने कहा कि हमें जल संरक्षण और हरियाली को बढ़ाने की जरुरत है। हम हरियाली को खत्म करके इमारते बना रहे हैं। लोगों की भागीदारी से इस दिक्कत को दूर किया जा सकता है। इसके अलावा शहरी स्लम की समस्या को दूर करने की जरुरत है। यह केवल सामुदायिक भागेदारी से ही संभव है। इसके लिए जागरुकता कार्यक्रमों की जरुरत है, ताकि स्लम कम्यूनिटी में रहने वाले लोग हमारे साथ आ सकें। उन लोगों को बेहतर जिंदगी मिल सके। उन्हें सुरक्षित जिंदगी मिल सके। मालूम हो कि  यू 20 शिखर सम्मेलन में 500 से अधिक प्रतिनिधी भाग ले रहे हैं। इनमें भारत और विदेशों के 80 से अधिक मेयर और डिप्टी मेयर शामिल हैं।

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